लविशा
देहरादून/नई दिल्ली, 10 जून। उत्तराखंड के कृषि एवं कृषक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने मंगलवार को नई दिल्ली में केंद्रीय पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत से शिष्टाचार भेंट की। इस अवसर पर उन्होंने केंद्रीय मंत्री को पवित्र गंगाजल तथा उत्तराखंड के पारंपरिक औद्योगिक उत्पाद भेंट स्वरूप भेंट किये।
राज्य के पर्यटन विकास हेतु केंद्र से मांगा विशेष सहयोग
मुलाकात के दौरान मंत्री गणेश जोशी ने उत्तराखंड में पर्यटन के क्षेत्र में विस्तार और नवाचार की संभावनाओं पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड प्राकृतिक सौंदर्य, आध्यात्मिकता, साहसिक खेलों और जैव विविधता से परिपूर्ण प्रदेश है, जिसे देश-दुनिया में पर्यटन के मानचित्र पर नई ऊँचाइयों तक पहुँचाने की आवश्यकता है।
उन्होंने बताया कि राज्य के प्रमुख पर्यटन स्थल जैसे मसूरी, नैनीताल, हरिद्वार और ऋषिकेश पर पर्यटकों का अत्यधिक दबाव है। ऐसे में प्रदेश सरकार चाहती है कि इन स्थलों के आसपास के कम ज्ञात लेकिन संभावनाशील क्षेत्रों को भी पर्यटन मानचित्र पर लाया जाए ताकि पर्यटकों को नए गंतव्य मिलें और स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी संजीवनी मिले।
पर्यटन क्षेत्र में ‘क्लस्टर मॉडल’ अपनाने का सुझाव
कृषि मंत्री ने केंद्रीय मंत्री शेखावत को सुझाव दिया कि पहाड़ी और मैदानी क्षेत्रों में पर्यटन सुविधाओं का विस्तार ‘क्लस्टर मॉडल’ के आधार पर किया जाए ताकि एक साथ कई गांवों एवं कस्बों को पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित कर स्थानीय लोगों के लिए स्वरोजगार के अवसर पैदा किये जा सकें।
उन्होंने कहा कि पर्वतीय जिलों में होमस्टे, साहसिक पर्यटन, ट्रैकिंग रूट, कैंपिंग साइट्स तथा धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा दिया जा सकता है। मसूरी-धनोल्टी, अल्मोड़ा-बिनसर, चकराता-लाखामंडल जैसे क्षेत्रों में इस दिशा में केंद्र सरकार के सहयोग से नई परियोजनाएं शुरू की जा सकती हैं।
पर्यटन पर अत्यधिक दबाव को संतुलित करने की आवश्यकता
मंत्री जोशी ने बताया कि मसूरी और नैनीताल जैसे स्थलों पर पर्यटकों की भीड़ के कारण जल संकट, ट्रैफिक जाम, कूड़ा प्रबंधन जैसी समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं। इस स्थिति से निपटने के लिए जरूरी है कि वैकल्पिक स्थलों का विकास किया जाए और राज्य के अन्य हिस्सों में भी पर्यटकों को आकर्षित किया जाए।
उन्होंने कहा कि उत्तरकाशी, बागेश्वर, चंपावत, पिथौरागढ़ और पौड़ी जैसे जिलों में अनेक ऐसे स्थल हैं जो प्राकृतिक सौंदर्य और धार्मिक महत्व से भरपूर हैं, लेकिन उचित प्रचार-प्रसार के अभाव में पर्यटक वहां नहीं पहुँच पाते।
केंद्रीय मंत्री शेखावत ने दिया सकारात्मक आश्वासन
केंद्रीय पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने प्रदेश के मंत्री जोशी के सुझावों की सराहना करते हुए कहा कि उत्तराखंड की पर्यटन क्षमता अपार है और केंद्र सरकार राज्य सरकार के सभी विकास प्रयासों में भागीदार बनेगी। उन्होंने भरोसा दिलाया कि उत्तराखंड के नए पर्यटन स्थलों के विकास हेतु केंद्र सरकार से हर संभव सहायता दी जाएगी।
उन्होंने कहा कि जल्द ही पर्यटन मंत्रालय की एक उच्च स्तरीय टीम उत्तराखंड का दौरा कर संभावनाशील स्थलों का भौतिक निरीक्षण करेगी और प्रदेश सरकार के साथ मिलकर विकास की कार्ययोजना तैयार की जाएगी।
उत्तराखंड के औद्योगिक उत्पादों की भी सराहना
मुलाकात के दौरान मंत्री जोशी द्वारा भेंट किये गए उत्तराखंड के पारंपरिक औद्योगिक उत्पादों की केंद्रीय मंत्री शेखावत ने प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के जैविक और स्थानीय उत्पादों को देश-दुनिया में विशेष पहचान दिलाने के प्रयास किये जाएंगे, जिससे स्थानीय कारीगरों, किसानों और उद्यमियों को भी लाभ मिलेगा।
राज्य सरकार पर्यटन के प्रति गंभीर: गणेश जोशी
मुलाकात के बाद मीडिया से बातचीत में मंत्री जोशी ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में राज्य सरकार प्रदेश में पर्यटन को रोजगार, निवेश और आर्थिक सशक्तिकरण के बड़े माध्यम के रूप में विकसित करने को लेकर पूरी तरह गंभीर है।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में जल्द ही नई पर्यटन नीति लागू की जा रही है, जिसमें ग्रामीण पर्यटन, साहसिक पर्यटन, सांस्कृतिक पर्यटन और धार्मिक पर्यटन को विशेष बढ़ावा देने की योजना है। साथ ही राज्य में आधारभूत संरचना के विकास पर भी विशेष जोर दिया जा रहा है।